श्री गोरक्षनाथ का दर्शन-पूजन किया तथा खिचड़ी चढ़ाई
प्रदेशवासियों को मकर संक्रांति पर्व तथा महाकुम्भ 2025 के प्रथम अमृत स्नान की बधाई दी
पर्व व त्योहार हमें सामाजिक व राष्ट्रीय एकता को सुदृढ़ बनाने का संदेश देते : मुख्यमंत्री
मकर संक्रांति का पावन पर्व हमें जगत पिता सूर्य के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित करने का अवसर प्रदान करता
तीर्थ पति प्रयागराज में महाकुम्भ 2025 के अन्तर्गत आज पहले अमृत स्नान का पुण्य प्रारम्भ हो चुका
देश और दुनिया के लोगों में महाकुम्भ के प्रति अद्भुत व अकल्पनीय आकर्षण देखने को मिल रहा
सनातन धर्म के प्रति आकर्षित अनेक विदेशी श्रद्धालु भी इस महाकुम्भ के साक्षी बन रहे
कल प्रयागराज में लगभग पौने दो करोड़ श्रद्धालुओं ने मां गंगा, यमुना और सरस्वती की पावन त्रिवेणी पर डुबकी लगाकर पुण्य प्राप्त किया
लखनऊ,14 जनवरी : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने प्रदेश वासियों को मकर संक्रांति पर्व तथा महाकुम्भ 2025 के प्रथम अमृत स्नान की बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए कहा कि पर्व व त्योहार हमें सामाजिक व राष्ट्रीय एकता को सुदृढ़ बनाने का संदेश देते हैं। पर्व हमें पावन परम्पराओं की पवित्रता अक्षुण्ण रखने व उनकी मर्यादा का पालन करने की भी प्रेरणा प्रदान करते हैं। पर्व व त्योहारों के प्रति श्रद्धा का भाव अभिनन्दनीय है। भारत की सनातन धर्म की परम्परा में उत्सव आनन्द के क्षणों को एकता के साथ आयोजित करने व अपनी खुशी को समाज की खुशी से जोड़ने का एक सशक्त माध्यम रहा है। क्षेत्र विशेष की आवश्यकता के अनुरूप भारत की ऋषि परम्परा ने पर्व व त्योहारों को संयोजित किया। हम सभी को आज उनके वृहद रूप देखने को मिलते हैं। असम में बिहू, पंजाब में लोहड़ी सुदूर दक्षिण में पोंगल आदिवासी इसके उदाहरण हैं।
मुख्यमंत्री जी आज श्री गोरक्षनाथ मन्दिर, गोरखपुर में मकर संक्रांति पर्व के अवसर पर मीडिया प्रतिनिधियों को सम्बोधित कर रहे थे। इसके पूर्व, उन्होंने श्री गोरक्षनाथ का दर्शन-पूजन किया तथा खिचड़ी चढ़ाई। उन्होंने कहा कि मकर संक्रांति भारत के पावन पर्व और त्योहारों की श्रृंखला का एक ऐसा पर्व है, जो जगत पिता सूर्य के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित करने का अवसर प्रदान करता है। देश के उत्तर, दक्षिण, पूर्व तथा पश्चिम में अलग-अलग नाम और रूपों के आधार पर इस पर्व को सनातन धर्मावलम्बी बड़ी श्रद्धा के साथ आयोजित करते हैं। बंगाल या महाराष्ट्र में तिलवा संक्रांति, उत्तर भारत में खिचड़ी संक्रांति के रूप में श्रद्धालुजन इस महापर्व को आयोजित करते हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि यह मेरा सौभाग्य है कि मुझे भगवान गोरक्षनाथ की पावन स्थली पर बाबा के श्री चरणों में पावन खिचड़ी चढ़ाने का अवसर प्राप्त हुआ। आज लाखों की संख्या में प्रदेश, देश व नेपाल आदि देशों से आए श्रद्धालुजन बाबा को पावन खिचड़ी समर्पित करेंगे। सभी व्यवस्थाएं सुचारु रूप से चल रही हैं। कहीं कोई समस्या नहीं है। लोग बड़ी श्रद्धा के साथ अपनी आस्था की खिचड़ी चढ़ा रहे हैं तथा बाबा के प्रति अपनी श्रद्धा व्यक्त कर रहे हैं। इस अवसर पर प्रदेश के अलग-अलग स्थानों पर पवित्र नदियों व सरोवरों में स्नान, ध्यान, दान व पुण्य का कार्यक्रम पूरे उत्साह से आयोजित किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि तीर्थ पति प्रयागराज में महाकुम्भ 2025 के अन्तर्गत आज पहले अमृत स्नान का पुण्य प्रारम्भ हो चुका है। देश और दुनिया के लोगों में महाकुम्भ के प्रति अद्भुत व अकल्पनीय आकर्षण देखने को मिल रहा है। कल प्रयागराज में लगभग पौने दो करोड़ श्रद्धालुओं ने मां गंगा, यमुना और सरस्वती की पावन त्रिवेणी पर डुबकी लगाकर पुण्य प्राप्त किया। आज वहां पूज्य संतों की अगुवाई में अखाड़ों का अमृत स्नान सम्पन्न होगा। महाकुम्भ का आज यह द्वितीय स्नान, लेकिन पहला अमृत स्नान है जिसमें अखाड़ों की शोभायात्रा व उनकी सवारियां निकलेंगी।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि ब्रह्म मुहूर्त में 03 बजे से ही लाखों की संख्या में श्रद्धालुजन डुबकी लगाकर पुण्य के भागीदार बन रहे हैं। देश और दुनिया से आए सनातन धर्मावलम्बियों के साथ-साथ सनातन धर्म के प्रति आकर्षित अनेक विदेशी श्रद्धालु भी इस महाकुम्भ के साक्षी बन रहे हैं। उन्होंने कहा कि हमारे पावन तीर्थ स्वच्छ और सुन्दर दिखने चाहिए। सिंगल यूज प्लास्टिक का उपयोग बिल्कुल न करें। कहीं भी गन्दगी न फैलने दें। शासन व प्रशासन पूज्य संतों व श्रद्धालुजन की व्यवस्था के लिए पूरी तन्मयता से कार्य कर रहे हैं। अनेक स्वयंसेवी संगठन श्रद्धालुजन और संतों की सेवा में तत्पर हैं।